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आम आदमी पार्टी ने कांग्रेस के झूठे दावों की खोली पोल
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भूपेश सरकार के ढाई साल पूरे होने के बाद भी शिक्षा का स्तर और शिक्षा व्यवस्था खस्ताहाल
जगदलपुर | भारत में कई दशकों से धर्म-जाति की राजनीति होती रही है लेकिन अरविंद केजरीवाल और मनीष सिसोदिया ने दिल्ली में जो शिक्षा क्रांति की अलख जगायी, उसका असर अब जगह-जगह होना शुरू हो गया है। शायद भारत के किसी अन्य राज्य के शिक्षा मंत्री का नाम उतने लोग नहीं जानते होंगे जितना दिल्ली के शिक्षा मंत्री का नाम जानते हैं। अब राजनीति में शिक्षा और स्वास्थ्य की बातें होने लगी हैं। इसी क्रम में कांग्रेस नेता और समर्थक छत्तीसगढ़ में कल से एक स्कूल की फ़ोटो सोशल मीडिया पर डालकर भूपेश बघेल की वाहवाही कर रहे हैं।
आम आदमी पार्टी के बस्तर जिला अध्यक्ष तरुणा साबे बेदरकर ने कहा- छत्तीसगढ़ में लगभग 55000 से अधिक सरकारी स्कूल है जिनमें 2340 सरकारी स्कूल बस्तर जिले में है जिसमें 1 लाख 35 हजार लगभग बच्चे शिक्षा प्राप्त कर रहे है लेकिन उनकी जर्जर अवस्था , व्यवस्था और शिक्षकों की उपलब्धता आज भी लगभग भगवान भरोसे ही है।आम आदमी पार्टी के जिला अध्यक्ष तरुणा साबे बेदरकर ने आज प्रेस विज्ञप्ति जारी करते हुए जानकारी दी कि भूपेश बघेल सरकार के ढाई साल पूरे हो गए हैं और सरकार का दावा महज दिखावा रह गया है और शिक्षा में उन्नति को लेकर प्रदेश की स्थिति बद से बदहाल हो गई है।
आज आम आदमी पार्टी ने प्रदेश स्तर पर सरकार के इन दावों की सच्चाई जानने का फैसला किया है । कम से कम 300 सरकारों स्कूलों की हकीकत आम आदमी पार्टी आज उजागर करने वाली है ।आम आदमी पार्टी बस्तर के कार्यकर्ता पूरे बस्तर में आज अपने आस पास के स्कूलों में जाकर उनकी यथास्थिति से रूबरू होगें और जनता के सामने असलियत लाते हुए लगभग बस्तर जिले के 21 स्कूलों का विजिट किया।
प्रदेश में भूपेश की कांग्रेस सरकार और बीजेपी सरकार दोनो ने ही नूरा कुश्ती कुश्ती करते हुए कभी भी शिक्षा का स्तर सुधारने की कोशिश ही नहीं की है। हमेशा दिखावा कर कुछ स्कूलों में कंप्यूटर लगा कर , रंग रोगन कर उदघाटन कर बड़े बड़े दावे कर जनता को मुंगेरी लाल के सपने दिखा दिए जाते है और हकीकत में कुछ भी बदलाव देखने को नहीं मिलता। कुछ महीनों बाद पता चलता है कि ये सारी खरीद फरोक्त भी घोटालों और भ्रष्टाचार की भेट चढ़ गई और कोई उपकरण काम नहीं कर रहा है। आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ता अब लगातार सभी सरकारी स्कूलों के दौरे कर स्कूली शिक्षा के स्तर की पोल खोल कर जनता के सामने प्रस्तुत कर रहे हैं।