कोरबा। कोरोना के बढ़ते संक्रमण को रोकने के लिए जिला प्रशासन ने जरूरी कार्रवाईयां शुरू कर दीं हैं। राज्य स्तर पर हुई उच्च स्तरीय बैठक के बाद जारी निर्देशों के परिपालन में कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी श्रीमती किरण कौशल ने कोरबा जिले में भी बढ़ते कोरोना संक्रमण के बीच आने वाले तीज-त्यौहार मनाने के लिए नई गाईड लाइन जारी की है। जिले में आगामी आदेश तक धारा 144 लागू रहेगी। कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए जारी शासकीय निर्देशों और कोविड प्रोटोकाॅल के उल्लंघन पर लोगों के विरूद्ध महामारी अधिनियम के तहत कार्रवाई भी हो सकेगी। होली, शब-ए-बारात, पाम संडे जैसे धार्मिक त्यौहारों को देखते हुए जिला प्रशासन ने कोरोना की रोकथाम के लिए नई गाईड लाइन जारी की है जिसका पालन करना अनिवार्य किया गया है।
होलिका दहन में एक बार में अधिकतम पांच लोग रह सकेंगे उपस्थित, कोविड प्रोटोकाॅल का करना होगा पालन – होलिका दहन कार्यक्रमों में एक बार में अधिकतम पांच लोग उपस्थित रहकर पूजा-अर्चना कर सकेंगे। पांच लोगों के बाद दूसरे अन्य पांच लोगों के क्रम में होलिका दहन के दौरान पूजा-अर्चना होगी। होली मिलन या किसी भी अन्य प्रकार का सार्वजनिक कार्यक्रम आयोजित करने की अनुमति नहीं होगी। होलिका दहन के दौरान सेनेटाइजर, फिजिकल डिस्टेंसिंग और मास्क का उपयोग करने की शर्त का कड़ाई से पालन करना होगा। सार्वजनिक स्थलों पर फिजिकल डिस्टेंसिंग के साथ मास्क का उपयोग अनिवार्य होगा। कोविड प्रोटोकाॅल के उल्लंघन की दशा में राज्य शासन द्वारा निर्धारित अर्थदण्ड भी लगाया जाएगा। अर्थदण्ड देने से मना करने पर वैधानिक कार्रवाई की जाएगी।
धार्मिक स्थानों पर केवल व्यक्तिगत पूजा होगी, सामूहिक कार्यक्रम पर रहेगी रोक – कोरबा जिले में सभी धार्मिक कार्यक्रम और त्यौहार, सांस्कृतिक, राजनैतिक, सामाजिक, खेल-कूद, मेला-मड़ई, समारोह और अन्य सार्वजनिक प्रकृति के सभी कार्यक्रम आयोजित किया जाना प्रतिबंधित रहेगा। जिले के सभी पर्यटन स्थलों में आम जनता के प्रवेश पर अगले आदेश तक रोक रहेगी। मंदिर, मस्जिद, गिरजाघर, गुरूद्वारे और अन्य धार्मिक स्थल केवल व्यक्तिगत पूजा के लिए खुले रहेंगे। व्यक्तिगत या एकल रूप में ही धार्मिक स्थलों और संस्थानों में प्रवेश मिलेगा। किसी भी प्रकार सामूहिक कार्यक्रम का आयोजन नहीं किया जाएगा।
विवाह, अंत्येष्टि, दशगात्र जैसे कार्यक्रमों में अधिकतम 50 लोगों के शामिल होने की रहेगी अनुमति – विवाह, अंत्येष्टि, दशगात्र या इनसे संबंधित जरूरी कार्यक्रमों में फिजिकल डिस्टेंसिंग के साथ हैण्ड सेनेटाइजेशन और मास्क के उपयोग का कड़ाई से पालन करने की शर्त पर अधिकतम 50 लोगों को ही शामिल होने की अनुमति होगी। ऐसे कार्यक्रमों के लिए संबंधित क्षेत्र के एसडीएम से लिखित अनुमति प्राप्त करना होगा। इस दौरान सभी प्रकार के धरना, रैली, जुलुस और सार्वजनिक प्रदर्शन आगामी आदेश तक प्रतिबंधित रहेंगे। दो पहिया वाहनों में दो और चार पहिया वाहनों में केवल चार व्यक्ति ही बैठकर यात्रा कर सकेंगे। डीजे, नंगाड़ा या दूसरे ध्वनि विस्तारक यंत्रों का उपयोग भी अगले आदेश तक प्रतिबंधित रहेगा।
अन्य राज्यों से आने वाले लोगों को सात दिन रहना होगा होम क्वारेंटाइन – अन्य राज्यों से हवाई यात्रा, रेल मार्ग या सड़क मार्ग से जिले में प्रवेश करने वाले सभी लोगों को सात दिन तक होम क्वारेंटाइन में रहना अनिवार्य होगा। किसी व्यक्ति को सर्दी, खांसी, बुखार, सांस लेने में तकलीफ, स्वाद या गंध महसूस नहीं होना, उल्टी-दस्त या शरीर में दर्द की शिकायत हो तो, तत्काल कोविड-19 की जांच करानी होगी और जांच रिपोर्ट प्राप्त होने तक भी होम क्वारेंटाइन में रहना होगा। कोविड रिपोर्ट पाॅजिटिव आने और होम आईसोलेशन की अनुमति मिलने पर आईसोलेशन की शर्तों का कड़ाई से पालन करना होगा। होम आईसोलेशन का उल्लंघन करने वाले लोगों पर भी कार्रवाई की जाएगी। सार्वजनिक स्थानों, सिनेमा हाॅल और माॅल में आने-जाने वालों की दैनिक जांच की जाएगी और कोविड गाईड लाइन का पालन सुनिश्चित कराया जाएगा। सशर्त अनुमति को छोड़कर सार्वजनिक स्थानों पर एक बार में पांच से अधिक व्यक्तियों के एकत्रित होने पर भी आगामी आदेश तक रोक रहेगी।
सघन कोरोना पाॅजिटिव मरीजों वाले क्षेत्र बनेंगे कंटेनमेंट जोन – जिले में यदि किसी क्षेत्र में कोविड मरीजों की संख्या अधिक हो जाती है तो उस क्षेत्र को कंटेनमेंट जोन घोषित किया जाएगा। कंटेनमेंट जोन में सभी लोगों को शासन द्वारा निर्धारित मापदण्डों और निर्देशों का पालन अनिवार्य होगा। जिले मे कोरोना वाइरस के संक्रमण को देखते हुए कोरोना वायरस निगरानी दल, जांच दल और निरीक्षण दल द्वारा भौतिक परीक्षण या ईलाज से जुड़े अधिकारी-कर्मचारियों को सभी लोगों को उचित सहयोग देना होगा। यदि कोई व्यक्ति इस संबंध में सहयोग देने या वांछित देने से इनकार करता है या निगरानी दल के निर्देशों का पालन नहीं करता या कोविड प्रोटोकाॅल का उल्लंघन करता है तो उसके विरूद्ध भारतीय दण्ड संहित 1860 की धारा 270 और महामारी डिसीज एक्ट 1897 तथा आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 के प्रावधानो के तहत वैधानिक कार्रवाई की जाएगी।